रोहित शेट्टी के निर्देशन में बनी वेब सीरीज़ "इंडियन पुलिस फोर्स" हाल ही में अमेज़न प्राइम वीडियो पर रिलीज़ हुई है और इसे लेकर दर्शकों की प्रतिक्रिया काफी मिश्रित है। आइए, आज इस सीरीज़ के हर पहलू पर नज़र डालते हुए इसकी निष्पक्ष समीक्षा प्रस्तुत करते हैं:
प्लॉट और सस्पेंस: Indian Police Force
सीरीज़ की कहानी दिल्ली में सिलसिलेवार बम विस्फोटों के इर्द-गिर्द घूमती है, जिसमें एटीएस अफसर कबीर मालिक की भूमिका में सिद्धार्थ मल्होत्रा और उनकी टीम अपराधियों का पीछा करती है। शुरुआत में तो सस्पेंस और रहस्य बरकरार रहता है, लेकिन मध्य तक आते-आते कहानी थोड़ी कमज़ोर पड़ती है। वाहियात ट्विस्ट और फॉर्मूलाइक घटनाक्रम दर्शकों को निराश कर सकते हैं।
एक्शन और निर्देशन: Indian Police Force
रोहित शेट्टी के सिग्नेचर स्टाइल में धमाकेदार एक्शन दृश्य सीरीज़ की जान हैं। कार का पीछा करने से लेकर स्टंट्स और गोलीबारी तक सभी सीन शानदार तरीके से फिल्माए गए हैं और निश्चित रूप से दर्शकों का मनोरंजन करते हैं। निर्देशन में रोहित शेट्टी का स्पर्श साफ झलकता है, हालांकि कहीं-कहीं ओवर-द-top एक्शन थोड़ा खटकता भी है।
अभिनय: Indian Police Force
सिद्धार्थ मल्होत्रा ने कबीर मालिक की भूमिका में कमाल का काम किया है। उन्होंने एक क्रोधित, भावुक पुलिस वाले के किरदार को बख़ूबी निभाया हैं। वेब सीरीज में शिल्पा शेट्टी और विवेक ओबेरॉय ने भी सहायक भूमिकाओं में ठीक-ठाक प्रदर्शन किया हैं। मयंक टंडन ने सीरीज़ में खलनायक की प्रभावशाली भूमिका निभाई हैं।
संगीत और तकनीकी पहलू: Indian Police Force
बैकग्राउंड स्कोर सीरीज़ के एक्शन दृश्यों को और भी शानदार बनाता है। हालांकि, गीत कुछ ज्यादा ही मेलोड्रामाटिक लगते हैं। प्रोडक्शन वैल्यू अच्छी है और सीरीज़ को काफी भव्य रूप से प्रस्तुत किया गया है।
कुल मिलाकर: Indian Police Force Final Remarks
"इंडियन पुलिस फोर्स" एक रोमांचक और मनोरंजक वेब सीरीज़ है, लेकिन कहानी की कमज़ोरियां के चलते हम इसे “मास्टरपीस कृति” की संज्ञा नहीं दे सकते हैं। यदि आप सीधे-सादे, धमाकेदार एक्शन फिल्म के प्रशंसक हैं और ऐसी फिल्में देखना पसंद करते हैं तो आपको यह सीरीज़ पसंद आएगी, लेकिन गहराई और नयापन तलाश रहे दर्शक इसे देखकर निराश हो सकते हैं।
कुछ महत्वपूर्ण बिंदु:
- सीरीज़ की लंबाई काफी ज्यादा है, लगभग 8 घंटे, जिसे थोड़ा कम किया जा सकता था।
- महिला पुलिसकर्मियों को कहानी में ज्यादा महत्व नहीं दिया गया है।
- सामाजिक मुद्दों को गहराई से नहीं छुआ गया है।
अंत में, "इंडियन पुलिस फोर्स" एक समय बिताने वाला मनोरंजक फिल्म तो है, लेकिन अपनी पूरी क्षमता तक नहीं पहुंच पाता है। यदि आप तर्क या यथार्थवादी कहानी की तलाश में नहीं हैं, तो इसे ज़रूर देखें, लेकिन बहुत ज्यादा उम्मीदें न लगाएं।
"इंडियन पुलिस फोर्स" को लेकर दर्शकों के हिस्से की नाराजगी साफ तौर पर झलकती है। दर्शकों ने इसे अविश्वसनीय संवादों के साथ निरर्थक बताया है जहां न अभिनय, न भाव और न ही कहानी में पर्याप्त गहराई मिली है।
हालांकि ये नकारात्मक समीक्षाएं सिर्फ दर्शकों के एक खास गुट का नज़रिया पेश करती हैं, मगर फिर भी यह महत्वपूर्ण है कि निर्माता इन प्रतिक्रियाओं को ध्यान से सुनें और आने वाले प्रोजेक्ट्स में सुधार लाने का प्रयास करें।